निदा फ़ाज़ली हिन्दी और उर्दू के मशहूर शायर थे. इन्होने कई हिन्दी फिल्मों के लिये गाने लिखे हैं और कई शानदार ग़ज़लें जो बेहद मशहूर हैं. आज देखते हैं उनकी एक खूबसूरत रचना “मुहब्बत में वफ़ादारी से बचिये”.
मुहब्बत में वफ़ादारी से बचिये
जहाँ तक हो अदाकारी से बचिये
हर एक सूरत भली लगती है कुछ दिन
लहू की शोबदाकारी से बचिये
शराफ़त आदमियत दर्द-मन्दी
बड़े शहरों में बीमारी से बचिये
ज़रूरी क्या हर एक महफ़िल में आना
तक़ल्लुफ़ की रवादारी से बचिये
बिना पैरों के सर चलते नहीं हैं
बुज़ुर्गों की समझदारी से बचिये